एक बूढ़ी अम्मा जब पहुंची कलेक्टर साहब के दफ्तर.. फिर जो हुआ ? देखिए जरा

29 Apr 24 6

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Description
कुछ तस्वीरें होती हैं ना 
जो संतोष दे जाती हैं 
कुछ अच्छा होने का अहसास दिला जाती हैं ..
और हाँ ..एक मजबूत साथ का भरोसा भी देती हैं 

 एक ऐसी ही तस्वीर ..जिसको देखकर यकीनन आपको सकूँ हासिल होगा ..और गर्व होगा हमारे मध्यप्रदेश के अफसरान पर,
जिनके दिल में इंसानियत है , जिनकि सोच में सेवा भाव है 
   बुजुर्ग अम्मा को देख रहें हैं ..
कटनी जिले गनियारी विकास खंड की रहने वाली सुशीला बाई हैं ..
उम्र के 75 साल पुरे हो चुके हैं 
विडम्बना ही कहिए ..कि जब अपनों का साथ सबसे जरूरी था ..तब ही स्वार्थी बेटों ने बेसहारा कर दिया ..
उन्ही बेटो ने , जिनके लिए सुशीला बाई ने अपनी  पूरी जिन्दगी जिन्दगी मानो कुर्बान कर दी 
कहने को एक नहीं तीन तीन बेटे हैं लेकिन मां की लाठी एक भी न बन सका 
मजबूर बूढी अम्मा ने बड़ी आस से कटनी कलेक्टर के दफ्तर का रुख किया| 
 अब देखिए ना ..खून ने भले बिसरा दिया हो लेकिन युवा कलेक्टर अवि प्रसाद ...बुजुर्ग का सहारा बन गए| 
   उम्र के चलते दफ्तर पहुँचते पहुँचते अम्मा का दम भर आया था| 
कलेक्टर बाबू ने अपने दफ्तर के बाहर ही कुर्सी मंगवा कर पहले बैठाया और फिर सामने खड़े होकर तसल्ली से पूरी बात सुनी| 
  बुजुर्ग सुशीला बाई ..दम साधे अपनी पूरी शिकायत बयां करती गई| 
कलेक्टर अवि प्रस्द्द साहब ने बात सुनीते ही आवश्यक कदम उठाने के ततकाल दिशा निर्देश जारी कर दिए|
सिर्फ इतना ही नहीं बल्कि बुजर्ग अम्मा को भरोसा दिलाया कि अब कोई परेशानी आपको नही होगी 
  कहाँ होता है ऐसा ..लेकिन यह तस्वीर बेहद सुखद थी ..एक मिसाल भी